भारतीय सेना के साहसिक अभियान ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की गूंज अब उत्तराखंड के मदरसों में भी सुनाई देगी। धामी सरकार ने एक ऐतिहासिक फैसला लेते हुए तय किया है कि मदरसों के छात्र-छात्राओं को इस सैन्य अभियान की जानकारी दी जाएगी, ताकि वे सेना के पराक्रम और बलिदान से परिचित हो सकें।
उत्तराखंड मदरसा बोर्ड के अध्यक्ष मुफ्ती शमून कासमी ने हाल ही में नई दिल्ली में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से मुलाकात की और इस निर्णय की जानकारी साझा की। उन्होंने बताया कि राज्य के सभी मदरसों में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ से जुड़ा एक अध्याय पाठ्यक्रम में जोड़ा जाएगा। इसके लिए जल्द ही पाठ्यक्रम समिति की बैठक आयोजित की जाएगी।
राज्य में वर्तमान में 451 मदरसे हैं, जिनमें लगभग 50 हजार छात्र पढ़ाई करते हैं। मुफ्ती कासमी ने कहा कि उत्तराखंड वीरों की भूमि है और ‘ऑपरेशन सिंदूर’ भारतीय सेना के अद्भुत शौर्य का प्रतीक है। उन्होंने यह भी कहा कि छात्रों को सेना की बहादुरी से प्रेरणा मिलेगी और उनमें देशभक्ति की भावना विकसित होगी।
रक्षा मंत्री से मुलाकात के दौरान कासमी के साथ कई प्रतिष्ठित लोग मौजूद थे, जिनमें रक्षा विशेषज्ञ कमर आगा, इस्लामिक सेंटर के पूर्व अध्यक्ष सिराज कुरैशी और आईसीएफए के अध्यक्ष एम.जे. खान शामिल थे। सभी ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की सफलता पर भारतीय सेना को बधाई दी और उनके पराक्रम की सराहना की।